लखनऊ, 7 सितंबर 2020. रोजगार को मौलिक अधिकार बनाने के लिए 5 सितंबर को हुए देशव्यापी आंदोलन (Nationwide movement on 5 September to make employment a fundamental right) में युवा मंच के 25 कार्यकर्ताओं पर पुलिस द्वारा एफआईआर दर्ज करने पर युवाओं में भारी रोष है। आंदोलन के दमन की इस कार्यवाही का चौतरफा विरोध हो रहा है। राष्ट्रीय नेता अखिलेंद्र प्रताप सिंह ने बयान जारी कर प्रशासन की इस कार्यवाही की कड़ी निंदा की है। उन्होंने रोजगार के सवाल पर राष्ट्रीय पहल लेने के लिए युवा मंच के साथियों को बधाई दी है और इलाहाबाद में युवा मंच के कार्यकताओं पर पुलिस कार्यवाही की कड़ी निंदा की है.
इलाहबाद विश्वविद्यालय छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष लाल बहादुर सिंह (Mr. Lal Bahadur Singh, former President of Allahabad University Students Union) ने भी युवाओं पर मुकदमा दर्ज कर उत्पीड़न की कार्यवाही की तीखी भर्त्सना करते हुए कहा है कि रोजगार को मौलिक अधिकार बनाने के लिए राष्ट्रीय आंदोलन वक्त की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि मोदी सरकार की नीतियों से रोजगार का संकट और गहराता जा रहा है। 5 सितंबर के आंदोलन में शामिल युवा मंच के 25 कार्यकर्ताओं के खिलाफ दर्ज कराई गई एफआईआर की आज मीडिया से जानकारी मिलने के बाद बुलाई गई वर्चुअल मीटिंग में प्रस्ताव लेकर प्रशासन की उत्पीड़न की इस कार्यवाही की तीखी निंदा की गई और मुख्यमंत्री से मांग की गई है कि मुकदमा तत्काल वापस लिया जाये।
प्रस्ताव में यह भी मांग की गई