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नई दिल्ली, 11 मार्च 2021. विश्व किडनी दिवस (WKD - world kidney day in Hindi) हर साल मार्च के दूसरे गुरुवार को मनाया जाता है। यह हमारे स्वास्थ्य के लिए किडनी के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाने और दुनिया भर में किडनी की बीमारी और इससे जुड़ी स्वास्थ्य समस्याओं के प्रभाव को कम करने के लिए वैश्विक जागरूकता अभियान है। 10 में से 1 व्यक्ति वैश्विक स्तर पर किडनी की बीमारी से प्रभावित है।

वर्ल्ड किडनी डे इंटरनेशनल सोसाइटी ऑफ नेफ्रोलॉजी (ISN) और इंटरनेशनल फेडरेशन ऑफ किडनी फाउंडेशन्स (IFKF) की एक संयुक्त पहल है।

गुर्दे की बीमारी का बोझ: Kidney disease burden:

दुनिया भर में 850 मिलियन लोगों को अब विभिन्न कारणों से गुर्दे की बीमारियाँ होने का अनुमान है।

क्रॉनिक किडनी डिजीज (CKD) मौत का 6 वां सबसे तेजी से बढ़ता कारण है।

वैश्विक स्तर पर तीव्र किडनी की चोट (AKI) के कारण प्रतिवर्ष लगभग 1.7 मिलियन लोगों की मृत्यु होने का अनुमान है।

कहीं आपमें भी तो नहीं किडनी में खराबी की चेतावनी के लक्षण

Kidney failure warning symptoms

डॉ. सुदीप सिंह सचदेव (Dr. Sudeep Singh Sachdev), नेफ्रोलॉजिस्ट (Nephrologist) नारायणा सुपर स्पेशलिटी हॉस्पीटल. के अनुसार

“वैसे तो किडनी सम्बन्धी बीमारियों का पता लगाने के लिए एक मात्र तरीका जांच ही है, लेकिन कुछ ऐसे लक्षण भी है जो आपको किडनी सम्बन्धी किसी रोग या संक्रमण के बारे में समय रहते चेता सकते है।

लाखों वयस्क लोग किडनी सम्बन्धी रोगों के शिकार हैं, लेकिन उनमें से ज्यादातर इनके बारे में जानते तक नहीं हैं। ज्यादातर लोग अपने रक्तचाप और कोलेस्ट्रोल की तो नियमित

जांच कराते हैं, लेकिन किडनी सम्बन्धी समस्या की जानकारी देने वाला “क्रेटनिन टेस्ट” नहीं कराते हैं। ग्लोबल बर्डन डिजीज अध्ययन 2015 के अनुसार किडनी की गम्भीर बीमारियां (सीकेडी) भारत में मौतों का आठवां सबसे बड़ा कारण है।

किडनी सम्बन्धी रोगों के कई शारीरिक लक्षण सामने आते हैं, लेकिन कई बार लोग उन पर ध्यान नहीं देते या भ्रमित हो जाते हैं, क्योंकि इसके लक्षण विशिष्ट प्रकृति के नहीं होते। ऐसे में नीचे बताए हुए लक्षणों के बारे में सचेत रहें और बिना देर किए जांचें कराएं ताकि रोग का पता लग सके। इसके अलावा अपने नेफ्रोलॉजिस्ट को उन लक्षणों के बारे में भी जरूर बताएं जो आप अनुभव कर रहे हैं। यदि आप हाइपरटेंशन, मधुमेह, सीएडी के रोगी हैं, आपके परिवार में यह रोग रहे हैं, किडनी फेल हुई है या आप 60 वर्ष से ज्यादा उम्र के हैं तो भी आपको नियमित रूप से किडनी की जांचें करानी चाहिए।“

विश्व किडनी दिवस 2021 की थीम

विश्व किडनी दिवस 2021 की थीम “हर जगह हर किसी के लिए किडनी का स्वास्थ्य -   किडनी रोग के साथ अच्छी तरह से रहना” (Kidney Health for Everyone Everywhere – Living Well with Kidney Disease) है।  

विश्व किडनी दिवस की शुरुआत कब हुई | When did world kidney day start |

विश्व किडनी दिवस का इतिहास History of World Kidney Day

विश्व किडनी दिवस 2006 में शुरू हुआ और तब से हर साल मनाया जाता है। हर साल अभियान एक विशेष विषय पर प्रकाश डालता है।

किडनी फेल कैसे होती है … How does kidney fail …

नोएडा स्थित फोर्टिस हॉस्पिटल के नेफ्रोलॉजी व किडनी ट्रांसप्लान्ट विभाग की वरिष्ठ सलाहकार, डॉक्टर अनुजा पोरवाल (Dr. Anuja Porwal, Senior Consultant, Nephrology and Kidney Transplant Department, Fortis Hospital, Noida) के अनुसार,

“किडनी की विफलता या क्रोनिक किडनी डिजीज (सीकेडी) एक ऐसी बीमारी है, जो धीरे-धीरे बढ़ती है। जब किडनियां रक्त से विषाक्त तत्वों को साफ करने में सक्षम नहीं रहती हैं, तो इसका अर्थ यह है कि किडनी फेल हो गई है। हालांकि, यह बीमारी लाइलाज होती है, लेकिन शुरुआती निदान और समय पर इलाज के साथ बीमारी के बढ़ने व गंभीर होने की गति को धीमा किया जा सकता है।“

डायबिटीज से बढ़ती किडनी की बीमारी

जिन लोगों को डायबिटीज की बीमारी (Diabetes) है उनको गुर्दे की बीमारी होने की काफी आशंका रहती हैं। आकड़े बताते हैं कि डायबिटीज, गुर्दे फेल होने का एक प्रमुख कारण है। इसलिए डायबिटीज के रोगियों को गुर्दे फेल होने के शुरूआती लक्षणों  का ज्ञान होना अति आवश्यक है। अगर रोगी के परिवार में किसी निकट सम्बन्धी के पूर्व में डायबिटीज से गुर्दे खराब हो चुके हैं तो उसके भी गुर्दे खराब होने की आशंका बढ़ जाती है।

नारायणा सुपर स्पेशियालिटी हॉस्पिटल के नेफ्रोलोजिस्ट (Nephrologist in Delhi/NCR) डॉ.सुदीप सिंह सचदेव का कहना है कि वे लोग जो कि डायबिटीज के मरीज हैं, उनमें से लगभग आधे लोग किडनी समस्या से पीडि़त हैं। इन लोगों के लिए आवश्यक है कि वे अपनी नियमित जांच कराएं और किडनी जांच पर विशेष तौर पर ध्यान दें। डायबिटीज से होने वाली किडनी समस्या का उपचार उपलब्ध है, बशर्ते समय रहते उसका निदान किया जा सके। अपने शुगर लेवल को नियंत्रण में ही रखें। आप का रक्तचाप जितना कम होगा, आप की किडनी की कार्यशैली भी उतनी देर से ही दुष्प्रभावित होगी।

सावधान ! आपको भी है कमर दर्द, कहीं किडनी की बीमारी की ओर इशारा तो नहीं !

क्रोनिक किडनी डिजीज और सेप्सिस

तेजी से बढ़ रही हैं क्रोनिक किडनी डिजीज से होनी वाली मौतें

घातक है मोटापे और क्रोनिक किडनी रोगों का संयोजन, पिछले एक दशक में मोटापा संबंधी किडनी रोगों में 40% वृद्धि

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