तृणमूल सरकार यादवपुर विश्वविद्यालय पर बार-बार बजरंगी हमले पर तमाशबीन क्यों
तृणमूल सरकार यादवपुर विश्वविद्यालय पर बार-बार बजरंगी हमले पर तमाशबीन क्यों
भैंस चुराने के आरोप में छात्र को नंगा करके पीट-पीटकर मार डाला, भैंस सही सलामत और तृणमूल नेता गिरफ्तार
विश्वविद्यालयों के खिलाफ उग्र हिंदुत्व के एकाधिकारवादी हमले के खिलाफ आखिरकार कोलकाता में बुद्धिजीवी सड़क पर उतरे
जुलूस में यह सवाल भी प्रमुखता के साथ उठा कि राज्य में तृणमूल सरकार यादवपुर विश्विद्यालय पर बार बार बजरंगी हमले के मामले में तमाशबीन क्यों है।
एक्सकैलिबर स्टीवेंस विश्वास
कोलकाता (हस्तक्षेप)। विश्वविद्यालयों के खिलाफ उग्र हिंदुत्व के एकाधिकारवादी हमले के खिलाफ आखिरकार कोलकाता में बुद्धिजीवी सड़क पर उतरे। जबकि नई दिल्ली में जेएनयू के छात्रों के समर्थन में देशभर से सभी तबके के लोग एकजुट हैं। केसरियाकरण के खिलाफ यह आंदोलन अब तेज होने वाला है।
इसी बीच डायमंड हारबर में आईटीआई छात्र कोशिक पुरकायत को भैंस चुराने के आरोप में नंगा करके पीट पीटकर मारने वाले तृणमूल नेता तापस मल्लिक को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है।
गौरतलब है कि भैंस सही सलामत बगीचे में बरामद कर ली गयी, जिसे चुराने के आरोप में छात्र की हत्या कर दी गयी और उसे जिंदगी की मोहलत देने के एवज में परिजनों से भैंस की कीमत साठ हजार वसूल लिये गये , लेकिन छात्र की जान बख्शी नहीं गयी।
इस जुलूस में यह सवाल भी प्रमुखता के साथ उठा कि राज्य में तृणमूल सरकार यादवपुर विश्विद्यालय पर बार-बार बजरंगी हमले के मामले में तमाशबीन क्यों है।
गौरतलब है कि यादवपुर विश्वविद्यालय परिसर के बाहर धावा बोलकर विद्यार्थी परिषद बंगाल के नेता सुबीर हलदर ने कहा, 'जादवपुर विश्वविद्यालय देशद्रोही तत्वों का अड्डा बनता जा रहा है। अगर यादवपुर विश्विद्यालयके इन देशद्रोही वामपंथी छात्रों ने परिसर से बाहर निकलने की कोशिश की तो उनकी टांगें काट दी जाएंगी। '
यही नहीं, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष ने यादवपुर विश्व विद्यालय को राष्ट्र-विरोधी तत्वों का गढ़ बताया। माकपा व विश्वविद्यालय के कुलपति पर ऐसे लोगों का समर्थन करने का आरोप लगाते हुए कुलपति की भूमिका की जांच कराने की माग भी की। पार्टी की प्रदेश महासचिव देवश्री घोष ने कहा कि हम देखते है कि यादवपुर विश्व विद्यालय में किसकी जीत होती है। देश भक्त जीतते हैं या देश द्रोही। जबकि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सांसद अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि यादवपुर विश्वविद्यालय पर संघ परिवार की नजर है। छात्रों में साम्प्रदायिकता को बढ़ावा दिया जा रहा है। शिक्षणसंस्थानों में इस तरह की गतिविधियों पर अंकुश लगनी चाहिए।
कोलकाता में कल इस जुलूस में बड़ी संख्या में शिक्षाविद, साहित्यकार , कलाकार , संस्कृतिकर्मी, बुद्धिजीवियों ने शामिल होकर केंद्रीय विश्विद्यालय हैदराबाद, जवाहरलाल नेहरु विश्विद्यालय नई दिल्ली, यादवपुर विश्वविद्यालय समेत देशभर के विश्वविद्यालयों पर कब्जा जमाने के बजरंगी अभियान के खिलाफ छात्रों और शिक्षकों के प्रितरोध का समर्थन किया गया।
दक्षिण कोलकाता के गोलपार्क से यादवपुर विश्विद्यालय के सामने 8 बी बस अड्डे तक निकले जुलूस में शिक्षाविद पवित्र सरकार, शुभंकर चक्रवर्ती, दिलीप बसु, आनंददेव मुखर्जी, नंदिनी मुखर्जी, मशहूर फिल्म निदेशक तरुण मजुमदार, असहिष्णुता के खिलाफ साहित्य अकादमी पुरस्कार लौटाने वाली बंगाल की इकलौती कवियत्री मंदाक्रांता सेन, निबंधकार अजिजुल हक, मधुजा सेन की अगुवाई में यह जुलूस निकला और 8बी के पास हुई सभा को संबोधित किया तरुण मजुमदार, शुभंकर चक्रवर्ती, देवाशीष सरकार, श्रुतिनात प्रहराज, कृष्णप्रसन्न भट्टाचार्य, अजीजुल हक, पार्थप्रतिम विश्वास, समर चक्रवर्ती, देवज्योति दास, मोहम्मद शफीकुल्ला समेत अनेक वक्ताओं ने। रजत बंदोपाध्याय और मंदाक्रांता सेन ने कविता पाठकिया।
विश्वविद्यालयों पर बजरंगी धावे का नजारा प्रगतिशील बंगाल में हाल में बार बार देखने को मिला। पहले साइंस सिटी के सामने छात्रों को बजरंगियों ने धुन डाला, फिर कोलकाता में संघ मुख्यालय पर रोहित वेमुला की संस्थागत हत्या के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे छात्रों को बजरंगियों ने जमकर मारा पीटा।
ममता बनर्जी की पुलिस दोनों मौके पर तमाश बीन बनी रहीं और इस सिलिसिले में बजरंगियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की। तब बंगाल के प्रबद्ध प्रगतिशील समाज ने छात्रों के पक्ष में मजबूती के साथ खड़ा होने की कोई पहल नहीं की।
राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के भूमिगत कार्यकर्ता को चुनाव से पहले प्रदेश भाजपा अध्यक्ष बना देने के तुरंत बाद #ShutdownJNU की तर्ज पर#ShutdownJADAVPUR University चालू हो गया और प्रदेश अध्यक्ष ने सीधे ऐलान कर दिया कि बंगाल में भाजपा की सरकार होती तो यादवपुर विश्वविद्यालय में घुसकर शिक्षकों और छात्र छात्राओं को बाहर लाते और उन्हें देशभक्ति का पाठ पढ़ा देते।
इसी बीच बंगाल में विधानसभा चुनाव का ऐलान हो गया और बिहार की तरह विपक्ष का कांग्रेस वाम गठबंधन की चुनौती के सामने दीदी की कुर्सी डांवाडोल नजर आने लगी तो संघ परिवार ने फौरी तौर पर विश्वविद्यालयों को उनके हाल पर छोड़ कर दीदी के हक में धर्मोन्मादी ध्रुवीकरण के जरिये वाम कांग्रेस गठबंधन को हराने में अपनी पूरी ताकत झोंक दी।
मतदान का आखिरी दौर समाप्त होने के बाद फिर शुरु हो गया #Shut down JNU #Shutdown तर्ज पर JADAVPUR University क्योंकि खुद प्रधानमंत्री के राजभवन में डेरा डालने के बावजूद यादवपुर के छात्र छात्राओं के खिलाफ जेएनयू की तर्ज पर राष्ट्रद्रोह का कोई मुकदमा नहीं चला और न वहां के कुलपति ने जेएनयू के कुलपति के नक्शेकदम पर विश्वविद्यालय परिसर में मनुस्मृति राज कायम करने की कोई पहल की। इस करारी शिकस्त को हजम नहीं कर सके बजरंगी।
अब उनका सीधा ऐलान है कि केंद्र में भाजपा की सरकार है तो विश्वविद्यालय को आजादी नहीं मिलेगी और देशद्रोही छात्राओं से छेड़छाड़ जायज है। गौरतलब है कि यादवपुर विश्विद्यालय प्रशासन ने विद्यार्थी परिषद के चार छात्रों के खिलाफ छात्राओं से छेड़छाड़ करने के आरोप में एफआईआर दर्ज कराया है लेकिन दीदी की पुलिस ने अभीतक कोई कार्रवाई नहीं की है।


