मोदी काला धन से चुनाव लड़े और काले धन से पूरे देश में सभायें कर रहे
मोदी काला धन से चुनाव लड़े और काले धन से पूरे देश में सभायें कर रहे
मोदी काला धन से चुनाव लड़े और काले धन से पूरे देश में सभायें कर रहे
फूँका गया मोदी का पुतला
जुलूस में मोदी मुर्दाबाद, नोट बंदी वापस लो, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी जिन्दाबाद के नारे लग रहे थे।
लोगों के पास बैंक खाते ही नहीं
बाराबंकी, 28 नवंबर। नोट बंदी के बहाने गरीब, मजदूर, किसानों को बर्बाद करने वाली मोदी सरकार की नीतियों के खिलाफ भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी ने मोदी का पुतला लेकर जुलूस निकाला और पटेल चैराहा पर फूंक दिया।
जुलूस से पहले सभा को सम्बोधित करते हुए भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के सहसचिव रणधीर सिंह सुमन ने कहा कि भारत में 52 प्रतिशत लोगों के पास ही बैंक खाते हैं, बहुत सारे नागरिकों को बैंक की सुविधा 50 किलोमीटर दूर है ऐसे में मोदी की तुगलकी योजना के कारण गरीब आदमी का एक या दो नोट बदल पाना असम्भव है।
भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के सहसचिव डॉ. कैसर हुसैन ने कहा कि
मोदी सरकार कालाधन को सफेद करने की यह योजना है और उन उद्योगपतियों को कर्जा फिर देना है जो लाखों लाख करोड़ रूपये हजम कर चुके हैं।
भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के जिला सचिव बृज मोहन वर्मा ने कहा कि मोदी की नोटबंदी योजना से किसान पूरी तरीके से बर्बाद हो रहा है आलू कोल्डस्टोरेज में सड़ गया है रूपया न होने से बोआई नहीं हो पा रही है। धान का मूल्य सात सौ रूपये प्रति कुन्तल चल रहा है पूरे देश में मोदी की योजना से किसान बर्बाद हो चुका है।
उन्होंने कहा कि
मोदी व उसके गिरोह के लोग झूठ पर झूठ बोलते जा रहे हैं। मोदी काला धन से चुनाव लड़े थे और काले धन से मोदी पूरे देश में सभायें कर रहे हैं।
किसान सभा के जिला अध्यक्ष विनय कुमार सिंह ने कहा कि बैंकों के सामने गरीब जनता खड़ी है और अमीर जनता एसी कमरे में सो रही है। मोदी जो कह रहे हैं उसके उलट देश की स्थिति है।
पुतला फूंकने में हनोमान प्रसाद, सचिन छाबड़ा, साबिर समसाद, राम लखन वर्मा, अमर सिंह गुड्डू, पुष्पेन्द्र सिंह, गिरीश चन्द्र वर्मा, सरदार भूपेन्द्र सिंह, सत्येन्द्र यादव, अवधेश, टिंकू, मोहम्मद वैश्य, मो. अजीम, सहाबुद्दीन, इस्लाम खान, मुनेश्वर वर्मा, सेखू, विनोद यादव, जितेन्द्र यादव, मुशाहिद शमशाद, साकिब जमाल आदि प्रमुख लोग थे।
जुलूस में मोदी मुर्दाबाद, नोट बंदी वापस लो, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी जिन्दाबाद के नारे लग रहे थे।
Note ban Modi's effigy burnt in Barabanki


