मोदी सरकार का संवैधानिक छल? | जस्टिस वर्मा, धनखड़ इस्तीफा और राजनाथ का मौन!

डॉ. अभिषेक मनु सिंघवी बता रहे हैं कैसे न्यायपालिका के अधिकारों में हस्तक्षेप किया जा रहा है, क्यों जस्टिस वर्मा की प्रक्रिया में विरोधाभास पैदा हो रहे हैं, और क्या सरकार खुद ही ऐसे loopholes छोड़ रही है ताकि कोर्ट में नियुक्तियां निरस्त हो सकें?;

By :  Hastakshep
Update: 2025-07-27 10:10 GMT

मोदी सरकार का संवैधानिक छल?

  • जस्टिस वर्मा, धनखड़ इस्तीफा और राजनाथ का मौन!
  • क्या मोदी सरकार न्यायपालिका को कमजोर करने के संवैधानिक खेल में लगी है?
  • "न्यायपालिका बनाम सरकार!"
  • "राजनाथ के ऑफिस में क्या हुआ?"
  • "धनखड़ क्यों हटे?"
  • न्यायपालिका पर मोदी सरकार का हमला?
  • धनखड़ का इस्तीफा - पर्दे के पीछे की सच्चाई!
  • Statutory Committee या संवैधानिक जाल?

क्या मोदी सरकार जानबूझकर संवैधानिक प्रक्रियाओं को उलझा रही है?

मोदी सरकार की नीतियां सहयोग नहीं, नियंत्रण की भावना से प्रेरित दिखती हैं। जस्टिस यशवंत वर्मा की नियुक्ति प्रक्रिया में सरकारी हस्तक्षेप, स्टैच्यूटरी कमेटी को लेकर विरोधाभास, और धनखड़ जी का अचानक इस्तीफा — क्या ये सब एक गहरे राजनीतिक एजेंडे का हिस्सा हैं?

क्या कार्यपालिका जानबूझकर ऐसे Loophole छोड़ रही है, जिससे न्यायिक प्रक्रिया उलझ जाए?

क्या खाली कागज पर हस्ताक्षर वाला कैंपेन सिर्फ प्रतीकात्मक था, या ये प्रस्तावित महाभियोग की तैयारी है?

जानिए कांग्रेस प्रवक्ता डॉ. अभिषेक मनु सिंघवी की ब्रीफिंग और इस पूरे घटनाक्रम के राजनीतिक मायने।

इस वीडियो में डॉ. अभिषेक मनु सिंघवी बता रहे हैं कैसे न्यायपालिका के अधिकारों में हस्तक्षेप किया जा रहा है, क्यों जस्टिस वर्मा की प्रक्रिया में विरोधाभास पैदा हो रहे हैं, और क्या सरकार खुद ही ऐसे loopholes छोड़ रही है ताकि कोर्ट में नियुक्तियां निरस्त हो सकें?

साथ ही चर्चा करेंगे कि धनखड़ जी का इस्तीफा किन कारणों से हुआ और राजनाथ सिंह के ऑफिस में क्या राजनीतिक हलचल हुई?

Modi government's attack on judiciary? Dhankar's resignation - the truth behind the scenes!

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