‘गरम हवा’ और ‘साजिद’ की तरह घुट और पिस रहे मुसलमानों की आवाज उठाने की कोशिश है ‘मुल्क़’ भी
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‘गरम हवा’ और ‘साजिद’ की तरह घुट और पिस रहे मुसलमानों की आवाज उठाने की कोशिश है ‘मुल्क़’ भी

‘गरम हवा’ और ‘साजिद’ की तरह घुट और पिस रहे मुसलमानों की आवाज उठाने की कोशिश है ‘मुल्क़’ भी

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