क्या ईरान से युद्ध की आड़ में फिलिस्तीन पर हमला तेज़ कर रहा है इज़राइल?
इज़राइल-ईरान युद्ध के बीच B’Tselem ने चेतावनी दी है कि ग़ज़ा और वेस्ट बैंक में फिलिस्तीनियों पर हमले और बढ़ सकते हैं। पिछले 48 घंटों में ग़ज़ा में 90 लोगों की मौत हुई।

B’Tselem का दावा: फिलिस्तीनियों के खिलाफ युद्ध अपराध बढ़ रहे हैं
- ईरान पर हमले के बाद वेस्ट बैंक और येरुशलम में बंदिशें कड़ी
- ग़ाज़ा में इंटरनेट ब्लैकआउट और भोजन की किल्लत बढ़ी
- 90 मौतें, 600 से ज्यादा घायल: इज़राइली सेना का बड़ा हमला
क्या इज़राइल वैश्विक ध्यान हटाकर फिलिस्तीन को निशाना बना रहा है?
इज़राइल-ईरान युद्ध के बीच B’Tselem ने चेतावनी दी है कि ग़ज़ा और वेस्ट बैंक में फिलिस्तीनियों पर हमले और बढ़ सकते हैं। पिछले 48 घंटों में ग़ज़ा में 90 लोगों की मौत हुई। जानिए कैसे वैश्विक ध्यान हटाकर इज़राइल युद्ध अपराधों को अंजाम दे रहा है।
नई दिल्ली, 15 जून 2025. बीते कुछ दिनों में इज़राइल और ईरान के बीच उभरे नए सैन्य संघर्ष ने वैश्विक ध्यान अपनी ओर खींचा है। मिसाइलें, ड्रोन हमले, और एयर स्ट्राइक्स की खबरें सुर्खियों में हैं। लेकिन इसी बीच एक और मोर्चा ऐसा है जिस पर कैमरे नहीं टिक रहे— वह है ग़ाज़ा, वेस्ट बैंक और पूर्वी येरुशलम।
क्या इज़राइल वैश्विक ध्यान हटाकर फिलिस्तीन को निशाना बना रहा है?
इज़राइली मानवाधिकार संगठन B’Tselem ने हाल ही में स्पष्ट चेतावनी दी है कि इज़राइल, इस अंतरराष्ट्रीय ‘ध्यान-भटकाव’ का उपयोग करके कब्जे वाले फिलिस्तीनी क्षेत्रों में हमलों को और तेज़ कर रहा है।
वर्तमान हालात: फिलिस्तीन में क्या हो रहा है इस समय?
B’Tselem का कहना है कि:
"इज़राइल की चरमपंथी और बेकाबू सरकार ने ईरान के साथ युद्ध छेड़ने के साथ-साथ फिलिस्तीन में अपने अपराधों को तेज़ किया है।"
रिपोर्ट के अनुसार:
- ग़ाज़ा पट्टी में 48 घंटों में 90 नागरिक मारे गए, 600 से अधिक घायल हैं।
- पूर्वी येरुशलम में मोहल्लों को सील कर दिया गया है।
- वेस्ट बैंक के कई हिस्सों में फुल लॉकडाउन लगा दिया गया है।
- इंटरनेट बंद कर दिया गया है और मानव सहायता तक रोक जैसे हथकंडे अपनाए जा रहे हैं।
इज़राइली मानवाधिकार संगठन B’Tselem ने एक बयान में कहा है कि,
"इज़राइल की चरमपंथी और बेकाबू सरकार ने ईरान के साथ नया मोर्चा खोल दिया है, जबकि ग़ज़ा और वेस्ट बैंक में उसके अपराध जारी हैं। यह युद्ध हजारों नागरिकों की जान ले सकता है और व्यापक नरसंहार में बदल सकता है।"
संगठन ने आगाह किया कि जैसे-जैसे वैश्विक मीडिया और राजनयिक ध्यान ईरान की ओर गया है, इज़राइली सेना ने इस अवसर का फायदा उठाकर ग़ज़ा में जानबूझकर भुखमरी, संचार अवरोध और हमलों में वृद्धि की है।
इज़राइल की रणनीति : वैश्विक ध्यान हटाना?
यह तर्क दिया जा रहा है कि इज़राइल जानबूझकर ईरान के साथ संघर्ष को बढ़ा रहा है ताकि दुनिया का ध्यान फिलिस्तीन से हटे और वह ग़ाज़ा में अपनी कार्रवाइयों को बिना आलोचना के जारी रख सके।
दरअसल इज़राइल कोई नया तरीका नहीं अपना रहा है — इतिहास में कई बार देखा गया है कि जब भी इज़राइल की अंतरराष्ट्रीय छवि पर सवाल उठते हैं, कोई नया बाहरी संघर्ष उभर आता है।
कूटनीतिक चुप्पी और मानवीय संकट
संयुक्त राष्ट्र की ओर से इस पर अब तक कोई विशेष प्रतिक्रिया नहीं आई है। पश्चिमी शक्तियाँ जैसे अमेरिका और फ्रांस मुख्यतः इज़राइल के पक्ष में बयान दे रही हैं, जिससे फिलिस्तीनी पक्ष और भी अलग-थलग महसूस कर रहा है।
इस समय ग़ाज़ा में खाद्य संकट, स्वास्थ्य सुविधाओं की कमी, और संचार का पूर्ण अभाव जैसी स्थितियाँ मानवाधिकारों के गंभीर उल्लंघन की ओर इशारा करती हैं।
इज़राइल और ईरान के बीच युद्ध निस्संदेह एक बड़ा खतरा है, लेकिन उस आड़ में फिलिस्तीन में जो हो रहा है — वह भी उतना ही गंभीर, शायद उससे भी ज़्यादा।
यह ज़रूरी है कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय इस दोहरे संकट को समझे और ग़ाज़ा-पट्टी और वेस्ट बैंक में हो रहे मानवीय अत्याचारों को नजरअंदाज़ न करे।
Web Title: Is Israel intensifying attacks on Palestine under the guise of war with Iran?


