चीन ने अमेरिका से कहा वह पाकिस्तान से दूर रहे
चीन ने अमेरिका से कहा वह पाकिस्तान से दूर रहे
रणधीर सिंह सुमन
यह दोस्ती भी रंग लाएगी
विगत दिनों अमेरिका ने पाकिस्तान को बगैर किसी सूचना दिए। एबटाबाद में ओसामा बिन लादेन को मारकर उसकी लाश समुद्र में डाल दी थी। इस प्रकरण के बाद पाकिस्तान की संप्रभुता व एक स्वतन्त्र देश की हैसियत को काफी गहरा धक्का लगा था। पाकिस्तान को अब अपनी हैसियत का एहसास अमेरिकन साम्राज्यवाद के द्वारा उठाये गए कदमो के बाद हुई है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री युसूफ रजा गिलानी चीन यात्रा पर गए हैं। चीन की भी आवश्यकता है कि वह पाकिस्तान को अपने साथ रखे चीन ने सीधे-सीधे यहाँ तक कहा है कि अमेरिका पाकिस्तान से दूर रहे और पाकिस्तान पर कोई हमला करता है तो वह हमला चीन पर माना जायेगा।
जियाबाओ ने कहा, 'मुझे विश्वास है हमारी इस मुलाकात से दोनों देशों के दोस्ती के रिश्ते और संबंध और मजबूत होंगे। चीन पाकिस्तान में परमाणु ऊर्जा के संयंत्र लगाकर और उसे लड़ाकू विमान शीघ्र से शीघ्र बेचकर दक्षिण एशिया में पाकिस्तान की स्थिति मजबूत करना चाहता है और अमेरिका को अपनी ताकत दिखाना चाहता है।
भारत आजादी के बाद से अमेरिकन गुट से अलग रहा है इसीलिए उसकी स्तिथि मजबूत रही है। पकिस्तान अपनी आजादी के बाद से ही अमेरिका का पिछलग्गु देश रहा है इसीलिए आज उसको अपनी इज्जत बचाने में भी लाले लग रहे हैं। आज वक्त की जरूरत है कि भारत, पाकिस्तान व चीन को अच्छे पडोसी के रूप में रहने की आदत डालनी चाहिए और अगर तीनो देश मिलजुल कर काम करें तो बहुत सारा रुपया जो रक्षा सौदों में खर्च हो जाता है वह इन देशों के विकास में खर्च हो सकता है। भारत, पाकिस्तान व चीन दुनिया की एक बड़ी ताकत भी बन सकते हैं।


