राजू परुलेकर का आरोप: आरएसएस और भाजपा ने भारतीय लोकतंत्र को हाईजैक कर लिया है

नई दिल्ली, 23 नवंबर 2024. वरिष्ठ पत्रकार राजू परुलेकर (Senior journalist Raju Parulekar) ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव परिणामों पर गंभीर सवाल उठाते हुए ट्वीट किया है कि भाजपा ने कैसे लोकतंत्र की हत्या की है और किस तरह चुनावी प्रक्रिया को प्रभावित किया गया है। उन्होंने अपने ट्वीट में कई घटनाक्रमों को उजागर किया, जिनसे यह साबित होता है कि चुनावों में लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं की धज्जियाँ उड़ाई गई हैं।

सर्वोच्च न्यायालय का अनिर्णय

राजू परुलेकर ने बताया कि मई 2023 से शिवसेना और एनसीपी के दलबदल मामलों पर भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने कोई निर्णय नहीं लिया। इस प्रकार, अवैधताओं के बावजूद यह मामला 2024 के चुनावों तक लंबित रखा गया। इसके अलावा, 2022 से आरक्षण के कारण स्थानीय निकाय चुनावों को स्थगित कर दिया गया, परंतु सर्वोच्च न्यायालय इस पर चुप रहा।

सीजेआई चंद्रचूड़ द्वारा नरेंद्र मोदी को गणपति दर्शन का निमंत्रण

राजू परुलेकर ने यह भी दावा किया कि चुनावों से एक महीने पहले, सीजेआई चंद्रचूड़ ने खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपने घर पर गणपति दर्शन के लिए आमंत्रित किया, जिससे राजनीतिक दृष्टिकोण से यह काफ़ी विवादास्पद कदम था।

अवैध शिवसेना और चुनाव आयोग की निष्क्रियता

राजू परुलेकर ने आरोप लगाया कि आरएसएस और भाजपा ने अवैध शिवसेना बनाई और चुनाव आयोग ने इस पर कोई कार्रवाई नहीं की। इसके अतिरिक्त, चुनाव आयोग ने महाराष्ट्र के चुनावों को एक महीने के लिए टाल दिया, जिससे शिंदे सरकार को ज्यादा समय मिला।

सरकारी धन का दुरुपयोग और प्रचार

उन्होंने यह भी बताया कि एकनाथ शिंदे ने इस अवधि के दौरान 2,000 से अधिक जीआर (गवर्नमेंट रिजोल्यूशन) जारी किए और 'लड़की बहन योजना' का प्रचार किया, जिससे सरकारी धन का दुरुपयोग हुआ। चुनाव आयोग इस पर भी चुप रहा।

धारावी पुनर्विकास और अडानी को भूमि आवंटन

महाराष्ट्र के धारावी पुनर्विकास के तहत अडानी समूह को मुंबई की प्रमुख रियल एस्टेट परियोजनाओं का ठेका देने का आरोप भी लगाया गया, जो चुनावी दौर में हुआ था।

वोटर टर्नआउट डेटा पर सवाल

चुनाव के बाद, महाराष्ट्र चुनाव आयोग ने बिना हस्ताक्षर के वोटर टर्नआउट डेटा जारी किया, और इसे मीडिया व सोशल मीडिया पर व्यापक रूप से फैलाया गया। राजू परुलेकर का कहना है कि इस तरह के डेटा का प्रचार करके यह दिखाने की कोशिश की गई कि 'लड़की बहन योजना' सफल रही और इसका असर चुनाव परिणामों पर पड़ा।

मीडिया और सोशल मीडिया पर दबाव

राजू ने यह भी आरोप लगाया कि चुनावी परिणामों के बारे में मीडिया और सोशल मीडिया ने बिना किसी जांच-पड़ताल के झूठे रुझान दिखाए, जिससे मतदाताओं को यह विश्वास दिलाने की कोशिश की गई कि परिणाम स्पष्ट थे।

भारतीय लोकतंत्र पर बड़ा हमला

वरिष्ठ पत्रकार ने यह भी दावा किया कि आरएसएस और भाजपा ने भारतीय लोकतंत्र को पूरी तरह से हाईजैक कर लिया है। उन्होंने इसे एक बड़ा झूठ बताया कि अजित पवार शरद पवार से ज्यादा लोकप्रिय हैं और एकनाथ शिंदे उद्धव ठाकरे से अधिक लोकप्रिय हैं, जो महाराष्ट्र के सामाजिक और राजनीतिक संदर्भ में असंभव प्रतीत होता है।

कुल मिलाकर, राजू परुलेकर का आरोप है कि भाजपा ने लोकतांत्रिक प्रक्रिया को पूरी तरह से प्रभावित किया है और चुनावी परिणामों को अपनी मर्जी से मोड़ा है।

राजू परुलेकर के ट्वीट का भावानुवाद इस प्रकार है -

“महाराष्ट्र में भाजपा ने किस तरह लोकतंत्र की हत्या की: घटनाक्रम।

1) भारत का सर्वोच्च न्यायालय मई 2023 से शिवसेना और एनसीपी के दलबदल मामले में कोई फैसला नहीं सुनाता।

स्पष्ट अवैधताओं के बावजूद, यह 2024 के चुनावों तक अपने कदम पीछे खींचता है।

2022 से आरक्षण के बहाने सभी स्थानीय निकायों के चुनाव स्थगित कर दिए गए हैं। सर्वोच्च न्यायालय को इसकी जरा भी परवाह नहीं है।

2) चुनावों से करीब एक महीने पहले, सीजेआई चंद्रचूड़ ने कैमरे के साथ नरेंद्र मोदी को अपने घर पर गणपति दर्शन के लिए आमंत्रित किया।

3) आरएसएस+भाजपा ने अवैध शिवसेना बनाई और एनसीपी ने सर्वोच्च न्यायालय की निगरानी में सफलतापूर्वक अपना कार्यकाल पूरा किया।

4) 2024 आते-आते, चुनाव आयोग महाराष्ट्र के चुनावों को एक महीने के लिए टाल देता है।

5) इस अवधि में, एकनाथ शिंदे 2,000 से अधिक जीआर जारी करते हैं।

6) वे लड़की बहन योजना का बहुत ज़्यादा प्रचार करते हैं, जिससे सरकारी धन का इस्तेमाल लोकप्रिय योजनाओं पर होता है।

7) चुनाव आयोग इस पर चुप है।

8) धारावी पुनर्विकास की आड़ में अडानी को मुंबई की प्राइम रियल एस्टेट दी गई।

9) चुनाव के बाद वीटीआर प्रतिशत में 2% की वृद्धि हुई, यानी 20 लाख से ज़्यादा वोट जुड़ गए।

10) नतीजों की पूर्व संध्या पर, @CEO_Maharashtra वेबसाइट ने बिना हस्ताक्षर के वोटर टर्नआउट डेटा शेयर किया।

11) @MahaDGIPR ने बिना हस्ताक्षर के डेटा को व्यापक रूप से शेयर किया।

12) @CEO_Maharashtra ने रेखांकित किया कि महिला मतदाताओं ने बड़ी संख्या में भाग लिया है और कुल मिलाकर यह महाराष्ट्र के लिए सबसे ज़्यादा वीटीआर था।

13) मानो वे इशारा कर रहे हों कि लड़की बहन योजना सफल रही है और इसका असर नतीजों पर पड़ेगा।

14) इसी समय एकनाथ शिंदे ने दावा किया कि अगर शिवसेना का कोई दलबदलू चुनाव हार जाता है तो वे राजनीति छोड़ देंगे।

15) मुख्यधारा और एसएम ने बिना किसी सवाल के बिना हस्ताक्षर किए चुनावी डेटा उठा लिया।

16) चुनाव परिणाम के रुझान मनगढ़ंत सहमति दिखाते हैं।

17) मीडिया और एसएम जल्द ही मतदाताओं को यह विश्वास दिलाने के लिए बयानबाजी शुरू कर देंगे कि परिणाम स्पष्ट थे।

18) आरएसएस + मोदानी ने आईएएस, आईपीएस, आईएफएस, आईआरएस और ऐसी ही कुलीन सेवाओं के चापलूस बाबुओं की बदौलत भारतीय लोकतंत्र को पूरी तरह से हाईजैक कर लिया है।

पी.एस. - सहमति बनाने की प्रक्रिया में उन्होंने यह दिखाकर एक बड़ी गलती की है कि अजित पवार शरद पवार से ज़्यादा लोकप्रिय हैं और एकनाथ शिंदे उद्धव ठाकरे से ज़्यादा लोकप्रिय हैं।

यह कहना वैसा ही है जैसे महाराष्ट्र में ‘ढोकला और फाफड़ा’ ‘कांडेपोहे’ से ज़्यादा लोकप्रिय है।

यह कहना वैसा ही है जैसे महाराष्ट्रियों को नॉन-वेज पसंद नहीं है।

क्या आप इस पर यकीन करेंगे❓”

Web Title: Senior journalist Raju Parulekar's question on Maharashtra election results: How did BJP murder democracy?