पाँच मिनट टोपी पहनकर मुसलमानों के पाँच साल टोपी पहना रहे मुलायम
पाँच मिनट टोपी पहनकर मुसलमानों के पाँच साल टोपी पहना रहे मुलायम
मायावती और राशिद अल्वी गये थे मोदी को जिताने गुजरात
दुर्गा को निलंबन और मालगांव में मुसलमानों को फँसाने वाले अरुण कुमार को यूपी की कमान !
लखनऊ 05 अगस्त। “उत्तर प्रदेश की समाजवादी सरकार मुसलमानों से चुनाव के वक्त किये गये किसी भी वादे को पूरा करने में पूरी तरह से फेल हो चुकी है। सरकार ने कॉर्पोरेट घरानों के पक्ष में तो कभी आरआरएस के पक्ष में जनता को लूटने और जेलों में डालने का काम किया है। इस सरकार में किसी की कोई सुनवायी नहीं है। आतंकवाद के नाम पर बेगुनाह मुस्लिम नौजवान जेलों में बंद हैं और उन्हें छोड़ने के वादे के साथ सत्ता में आयी सरकार, सरकार परस्त उलेमाओं को इफ्तार करवा कर अपने निकम्मेपन को छुपाना चाहती है।“
ये बातें रिहाई मंच के अध्यक्ष मोहम्मद शुऐब एडवोकेट ने रिहाई मंच के अनिश्चतकालीन धरने के 75 वें दिन कहीं।
धरने को संबोधित करते हुए मुस्लिम मजलिस उत्तर प्रदेश के प्रवक्ता जैद अहमद फारूकी ने कहा कि एक तरफ सरकार अपने एक खनिज माफिया को लाभ पहुँचाने के लिए एक अफसर को निलंबित करके मुस्लिम समाज का हितैषी होने का दावा कर रही है, वहीं दूसरी ओर माले गांव ब्लास्ट में ग्यारह बेगुनाह मुस्लिम नौजवानों को फँसाने वाले आईपीएस अफसर अरुण कुमार झा को उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था की कमान सौंप दी है। सपा सरकार द्वारा मुलायमवादी मुसलमानों द्वारा प्रचारित करवाया जा रहा है कि लखनऊ का शिया-सुन्नी फसाद भाजपा द्वारा कराया जा रहा है। जबकि राज्य में शासन सपा का है। पाँच दिन से लगातार राजधानी में फसाद बिना सरकार की साजिश के मुमकिन नहीं है। सपा मुसलमानों से पिछले विधान सभा चुनाव में किये गये वादों को पूरा नहीं कर पायी है जिससे मुसलमानों में जबरदस्त आक्रोश है इसीलिए सपा मुसलमानों को भाजपा का डर दिखा कर वोट लेना चाहती है। एक तरफ कांग्रेस, गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी को सांप्रदायिक बताकर देश के प्रधानमंत्री पद के लिए अयोग्य साबित कर रही है। जबकि 2002 में गुजरात नर संहार के बाद मोदी को चुनाव जितवाने में बहुजन समाज पार्टी की अध्यक्षा मायावती के साथ कांग्रेस के मौजूदा प्रवक्ता राशिद अल्वी भी गये थे। जो आज कांग्रेस का मुस्लिम चेहरा हैं। जबकि 2012 में संपन्न हुए गुजरात विधान सभा चुनावों में कांग्रेस ने सांप्रदायिक मोदी को जिताने का काम किया है। इसका सबूत यह है कि मुसलमानों की तबलीगी जमात को फंडिंग कर जनपद बांदा के जामिया अरबिया हथौरा में तबलीगी जमात का तीन दिवसीय इस्तमा 16,17,18 नवंबर 2012 को करवाया था जिसमें लगभग 35 लाख लोग सम्मिलित हुए थे जिसमें 20लाख से अधिक मुसलमान गुजरात के उन इलाकों से आये थे जो मुस्लिम बाहुल्य इलाके थे। उन्होंने कहा कि देश के मुसलमानों को सेकुलरिज्म के नाम पर सपा, बसपा, कांग्रेस मुसलमानों को बेवकूफ बनाते रहते हैं तथा इसी आड़ में भाजपा हिन्दुओं को अल्पसंख्यक होने का डर दिखा कर बेवकूफ बनाती है। इन सबका आपसी गठजोड़ है बारी-बारी से देश के धन और संसाधनों को बारी बारी से लूटा जाये। आज समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव व उनके पुत्र मुख्यमंत्री अखिलेश यादव रोजा इफतार के नाम पर पांच मिनट की टोपी लगाकर पांच साल के लिए टोपी पहनाने की योजना बनाएंगे। अब मुस्लिम समुदाय को अपने भविष्य के लिए इन सबसे हट कर सोचना पड़ेगा।
धरने को संबोधित करते हुए उन्नाव से आये सामाजिक कार्यकर्ता व पत्रकार आलोक ने कहा कि सपा सरकार आम जनता के बीच अपना विश्वास खो चुकी है। खालिद मुजाहिद की न्यायिक हिरासत में हुई हत्या ने यह सिद्ध कर दिया है कि प्रदेश में कानून व व्यवस्था की जगह आतंक का राज्य है और जिसका अलंबरदार मुख्यमंत्री अखिलेश यादव लैपटाॅप, कन्याधन से लेकर तरह तरह के झुनझुने हाथों में थमाकर भोले भाले नौजवानों को भरमाने का काम कर रहे हैं। साथ ही मुस्लिम समुदाय को रोजा इफतार और मौलानाओं को तरह तरह के तिलिस्म और करतब में शामिल कर पूरी मिल्लत को हक और हुकूक से मरहूम कर रहे हैं। जो उनका बुनियादी अधिकार है। कुर्सी की इस सियासी और साजिशी दौड़ में सपा नागपुर के मठ से संचालित है यह साफ जाहिर हो चुका है। इस साजिशी दौड़ में उसका और भाजपा का सीधा गठबंधन है। और अंदरखाते कांग्रेस और बसपा भी नीतिगत तौर पर उससे कहीं अलग नही है बल्कि कुर्सी की रेस में सभी एक ही थैली के चट्टे बट्टे हैं। इन सबकी एक ही कोशिश है कि भारत की आवाम अपने हक और हुकूक के मूल सवालों से हमेशा भटकी रहे। आज देश और प्रदेश के आम आदमी को एक जुट होकर सारे जनवादी सवालों के लिए वर्ग वर्ण लिंग और धर्म के मकड़जाल से बाहर आकर इसे एक आम जनता की व्यापक आजादी की लड़ाई में बदलना होगा। इन गिरगिट नुमा दोगले राजनीतिक दलों के मकड़जालों को ध्वस्त कर आम आदमी को सत्ता के केन्द्र में पहुँचाना होगा।
धरने को संबोधित करते हुए सामाजिक कार्यकर्ता और पत्रकार हरे राम मिश्र ने कहा कि आज जिस तरह से लखनऊ सुलग रहा है वह यह साबित करता है कि सपा सरकार की अपने राजनैतिक हित के लिए फसादियों का साथ दे रही है। यह बेहद शर्मनाक है कि लखनऊ तीन दिन जलता रहा और सरकार ने लखनऊ के प्रशासनिक अधिकारियों पर कोई कार्यवाही नही की।
धरने का संचालन रिहाई मंच के प्रवक्ता राजीव यादव ने किया। धरने को मोहम्मद शुऐब, मोहम्मद सुलेमान, असदुल्ला, शेख इरफान, तारिक शफीक, अमित मिश्रा, हरे राम मिश्र, फैज, बब्लू यादव, आलोक अग्निहोत्री, जैद अहमद फारूकी, शिव दास प्रजापति, सैयद मोईद अहमद, सादिक खान, अब्दुल हलीम सिद्दीकी ने भी संबोधित किया।


